ब्लीचिंग
आज अधिकतर महिलाएँ अपनी साँवली रंगत और रोओं से छुटकारा प्राप्त करने के लिए अपने चेहरे व हाथ पैरों पर ब्लीच कराने लगी हैं। यह ब्लीच वह ब्यूटी पार्लर जाकर सौन्दर्य विशेषज्ञ से करवाती है या स्वयं कर लेती है। ऐसा ही एक महिला से मेरी भेंट एक डाक्टर के क्लीनिक पर हुई जोकि ब्लीच के कारण अपने चेहरे को झुलसा चुकी थी। कारण, उनकी जरा सी असावधानी के फलस्वरूप उन्हें यह परिणाम भुगतना पड़ा था। ऐसी बहुत सी महिलाएँ हैं जो कि ब्लीच को एक फैशन समझ कर अंधाधुंध उसका प्रयोग त्वचा पर करती हैं और ऐसी महिलाओं का परिणाम भी इन्ही श्रीमति की तरह होता है। आज सौन्दर्य के क्षेत्र में ब्लीच का फैशन आम है और बहुत-सी महिलाएँ बाजार से ब्लीच क्रीम खरीद कर घर पर ही उल्टे-सीधे तरीके से प्रयोग करने लगती हैं। ब्लीच क्रीम का उचित ताल मेल न होने से स्याह और लाल धब्बे पड़ जाते हैं। ब्लीच क्रीम के प्रयोग से धीरे-धीरे त्वचा पर जलन, खुजली और दाने आदि की समस्याएँ उत्पन्न हो जाती हैं, जो कि आगे चलकर महिलाओं के लिए एक जटिल समस्या का रूप धारण कर लेती हैं। ब्लीच जहाँ एक ओर सौन्दर्य के लिए उपयोगी है, वही सौन्दर्य के लिए घातक भी। अतः आवश्यक है कि ब्लीच करते समय निम्नलिखित सावधानियों को ध्यान में रखा जाये:
ब्लीच करते समय सावधानीः
- ब्लीच करने से पूर्व सर्वप्रथम चेहरे को स्वच्छ जल से धो लेना चाहिए।
- चेहरे पर यदि मेकअप हो तो साफ करके पानी से अच्छी तरह ब्लीच करें।
- चेहरे पर ब्लीच क्रीम लगाने से पहले गर्दन के चारों ओर तौलिया फैला दें ताकि ब्लीच क्रीम आपके वस्त्रो पर न लगे।
- ब्लीच ऐसी त्वचा पर कभी न करें जो कि कील मुहांसों युक्त हो ऐसी त्वचा पर ब्लीच करना कभी-कभी बहुत घातक रूप धारण कर लेता है।
- ब्लीच अत्याधिक शुष्क और कोमल त्वचा पर नहीं करनी चाहिए। रोओं के ब्लीच होते ही ब्लीच चेहरे से साफ कर देना चाहिए क्योंकि ब्लीच चेहरे की त्वचा को नुकसान पहुंचा सकती है।
- ब्लीच का प्रयोग जहाँ तक हो सके कम ही करना चाहिए। ज्यादा करने से त्वचा पर इसका बहुत बुरा प्रभाव पड़ता है।
- ब्लीच लगाने पर यदि जलन या खुजली होती प्रतीत हो तो उस स्थान से ब्लीच तत्काल साफ कर देनी चाहिए।
- चेहरे को साफ करने के उपरान्त स्किन टॉनिक लगा लेना चाहिए।